Font by Mehr Nastaliq Web

स्त्री पर उद्धरण

स्त्री-विमर्श भारतीय

समाज और साहित्य में उभरे सबसे महत्त्वपूर्ण विमर्शों में से एक है। स्त्री-जीवन, स्त्री-मुक्ति, स्त्री-अधिकार और मर्दवाद और पितृसत्ता से स्त्री-संघर्ष को हिंदी कविता ने एक अरसे से अपना आधार बनाया हुआ है। प्रस्तुत चयन हिंदी कविता में इस स्त्री-स्वर को ही समर्पित है, पुरुष भी जिसमें अपना स्वर प्राय: मिलाते रहते हैं।

पुरुष में थोड़ी-सी पशुता होती है, जिसे वह इरादा करके भी हटा नहीं सकता। वही पशुता उसे पुरुष बनाती है। विकास के क्रम में वह स्त्री से पीछे है। जिस दिन वह पूर्ण विकास को पहुँचेगा, वह भी स्त्री हो जाएगा।

प्रेमचंद

स्त्री के लिए प्रेम का अर्थ है कि कोई उसे प्रेम करे।

भुवनेश्वर

पुरुष को स्त्री को जानने में कोई दिलचस्पी नहीं थी, इसलिए उसने उसे परम रहस्य कहकर पुरस्कृत किया; लेकिन वास्तव में घमंड के बहाने उसके अधिकार की उपेक्षा की गई।

रघुवीर चौधरी

पुरुषों और स्त्रियों को जिस समाज में वे रहते हैं, मुख्यतः उसकी राय और शिष्टाचार के अनुरूप शिक्षित होना चाहिए।

मैरी वोलस्टोनक्राफ़्ट

स्त्री को पाकर, स्त्री को समझकर, उसे अपनी बाँहों और आत्मा में महसूस करके ही प्रकृति की गति और प्रकृति की सुंदरता को और प्रकृति के रहस्य को लिया, भोगा और समझा जा सकता है।

राजकमल चौधरी

मैं अब से पढ़ते हुए पुरुषों और बुनाई करती हुई स्त्रियों की तस्वीरें नहीं बनाऊँगा। मैं उन जीवित साथियों की तस्वीरें बनाऊँगा जो ज़िंदगी को जीना जानते हैं और उसे महसूस करते हैं, जो तकलीफ़ें सहते हैं और प्रेम करते हैं।

एडवर्ड मुंक

पितृसत्ता में स्त्री-पुरुष में भेद नहीं होता है।

बेल हुक्स

मेरे पास उसे यह बताने का साहस नहीं था कि महान् प्रेम-कहानियाँ पुरुषों और स्त्रियों के बीच दर्द और अलगाव के बारे में बताती हैं।

एडना ओ’ब्रायन

वह एक युद्ध है जो स्त्री और पुरुष के बीच हमेशा चलता रहता है, जिसे बहुत लोग प्रेम कहकर पुकारते हैं।

एडवर्ड मुंक

इस पर भरोसा मत करो कि कोई भी दोस्त दोषों के बिना है, और किसी स्त्री से प्यार करो, परी से नहीं।

डोरिस लेसिंग

केवल किसी स्त्री के पास ही यह चुनने की शक्ति है कि अर्पण करना है या नहीं।

अमोस ओज़

वह (स्त्री) ख़ुद से तब प्यार कर पाती है, जब कोई पुरुष उसे प्यार के क़ाबिल पाता है।

शुलामिथ फ़ायरस्टोन

यह स्त्री शिष्टाचार में क्रांति लाने का समय है—उन्हें उनकी खोई गरिमा लौटाने का समय। यह अपरिवर्तनीय नैतिकता को स्थानीय शिष्टाचार से अलग करने का समय है।

मैरी वोलस्टोनक्राफ़्ट

स्त्रियों को तर्कसंगत प्राणी और स्वतंत्र नागरिक बनाएँ, और अगर पुरुष पतियों और पिता के कर्त्तव्यों की उपेक्षा नहीं करते हैं तो वे जल्द ही अच्छी पत्नियाँ बन जाएँगी।

मैरी वोलस्टोनक्राफ़्ट

जब आप किसी स्त्री को लेखन में उतार लेते हैं, तो वह आपको हज़ारों अन्य स्त्रियों के बारे में सोचने पर मजबूर कर देती है।

गुस्ताव फ़्लॉबेयर

स्त्रियों को बचपन से ही सिखाया जाता है कि सुंदरता उनका छत्र है, इसलिए मन शरीर को आकार देता है और अपने चमकदार पिंजरे में घूमते हुए केवल अपनी जेल को सजाना चाहता है।

मैरी वोलस्टोनक्राफ़्ट

अगर एक स्त्री अकेली सोती है तो यह सभी पुरुषों के लिए शर्मनाक है। ईश्वर के पास बड़ा दिल है, लेकिन एक ऐसा भी पाप है जिसे वह माफ़ नहीं करता : अगर एक स्त्री किसी पुरुष को बिस्तर पर बुलाती है और वह नहीं जाता।

निकोस कज़ानज़ाकिस

त्वचा, हड्डियों और भूरे रंग का पानी—इन तीनों के मेल में, पुरुष और स्त्री के बीच के सारे फ़र्क़ ख़त्म हो जाते हैं।

हेर्टा म्युलर

स्त्रियाँ कभी क्रूरता पर नहीं रोतीं। वे दूसरों के दिए दर्द पर नहीं रोतीं। रोने के लिए उनका अपना दर्द ही काफ़ी होता है।

रघुनाथ चौधरी

इतिहास ने जिन स्त्री-पुरुषों को मानवता की सेवा का अवसर देकर समादृत किया है, उनमें से अधिकांश को विपरीत परिस्थितियों का अनुभव हुआ है।

हेलेन केलर

मुझे जितना अकेला होना चाहिए था, मैं उससे कहीं ज़्यादा अकेली थी; प्यार करने वाली या आधा प्यार करने वाली स्त्री होने के नाते।

एडना ओ’ब्रायन

स्त्रियों की कोमलता पुरुषों की काव्य-कल्पना है।

प्रेमचंद

स्त्री-हृदय के मर्मकोष को जाने बिना ही बहुत कुछ कहा गया है।

रघुवीर चौधरी

स्त्रियाँ कभी क्रूरता पर नहीं रोतीं। वे दूसरों के दिए दर्द पर नहीं रोतीं। रोने के लिए उनका अपना दर्द ही काफ़ी होता है।

रघुवीर चौधरी

एक स्त्री पूज्य होने के बजाय स्वतंत्र रहना ज़्यादा पसंद करती है, लेकिन उसे यह कौन पूछेगा?

रघुवीर चौधरी

प्यार नहीं मरता है, पुरुष और स्त्रियाँ मरा करते हैं।

विलियम फॉकनर

पुरुष दुश्मन नहीं है, बल्कि सहचर पीड़ित है। असली शत्रु स्त्रियों द्वारा ख़ुद की आलोचना करना है।

बेट्टी फ्रीडन

पुरुष को मनुष्य के रूप में और स्त्री को स्त्री के रूप में परिभाषित किया जाता है—जब भी वह मनुष्य की तरह व्यवहार करती है, उस पर पुरुष की नक़ल करने का आरोप लगाया जाता है।

सिमोन द बोउवार

उसने उस स्त्री को अंदर इसलिए नहीं आने दिया, क्योंकि वह सचमुच में उससे प्यार करता था; बल्कि इसलिए क्योंकि उसने उसकी पूर्वकल्पित धारणाओं के अनुरूप स्वाँग किया था।

शुलामिथ फ़ायरस्टोन

जो स्त्री सोचती है कि वह बुद्धिमान है, वह पुरुषों से समान अधिकार की माँग करती है। बुद्धिमान स्त्री ऐसा नहीं करती है।

कोलेट

पुरुषों द्वारा स्त्रियों की तरफ़ छिटपुट ध्यान देकर उनको व्यवस्थित रूप से अपमानित किया जाता है, जबकि वास्तव में, ऐसा करके पुरुष अपनी श्रेष्ठता का समर्थन कर रहे होते हैं।

मैरी वोलस्टोनक्राफ़्ट

लोग अब भी ताक़तवर पुरुष को जन्मजात नेता और ताक़तवर स्त्री को विसंगति मानते हैं।

मार्गरेट एटवुड

यदि स्त्रियों के साथ भेदभाव केवल सतही शारीरिक विशेषताओं के कारण किया जाता है तो वास्तव में पुरुष जैसे हैं, वे उससे कहीं अधिक विशिष्ट और अचल दिखाई देते हैं।

शुलामिथ फ़ायरस्टोन

स्त्री और पुरुष में मैं वही प्रेम चाहता हूँ, जो दो स्वाधीन व्यक्तियों में होता है। वह प्रेम नहीं, जिसका आधार पराधीनता है।

प्रेमचंद

…वह (पुरुष) अपनी क़ब्र में छला हुआ महसूस करते हुए जाएगा, कभी यह नहीं समझ पाएगा कि एक स्त्री और दूसरी स्त्री के बीच बहुत अंतर नहीं है, और फ़र्क़ सिर्फ़ प्यार करने से पड़ता है।

शुलामिथ फ़ायरस्टोन

स्त्रियों को सरकार के विचार-विमर्श में बिना किसी प्रत्यक्ष हिस्सेदारी के मनमाने ढंग से शासित किए जाने के बजाय उनके प्रतिनिधि सरकार में होने चाहिए।

मैरी वोलस्टोनक्राफ़्ट

पुरुष डरते हैं कि स्त्रियाँ उनकी हँसी उड़ाएँगी। स्त्रियाँ डरती हैं कि पुरुष उन्हें मार डालेंगे।

मार्गरेट एटवुड

अगर स्त्री का मुद्दा इतना बेतुका है, तो ऐसा इसलिए है क्योंकि पुरुष के अहंकार ने इसे चर्चा का विषय बना लिया है।

सिमोन द बोउवार

स्त्रियों को पूरी मानव नियति में हिस्सेदारी के बजाय आधे जीवन की तस्वीर को क्यों स्वीकार करना चाहिए?

बेट्टी फ्रीडन

स्त्रियों के लिए वोट का कोई मतलब नहीं है। हमें हथियारबंद होना चाहिए।

एडना ओ’ब्रायन

नौ महीने की गर्भावस्था से गुज़रकर एक माँ महसूस करती है कि इतने दर्द और बेचैनी से पैदा हुआ वह बच्चा उसका है।

शुलामिथ फ़ायरस्टोन

मैं पहले एक लेखिका हूँ और उसके बाद एक स्त्री हूँ।

कैथरीन मैंसफ़ील्ड

औरत जब लड़की में बदल जाए तो बिल्कुल चुप रहो। थक जाए, चुप हो जाए, तो मर्दों का बनाया सबसे झूठा वाक्य बोलो, आप तो ग़ुस्से में और सुंदर हो जाती हैं।

स्वदेश दीपक

ज़्यादातर स्त्रियाँ तुनकमिज़ाज और सनकी होती हैं।

केट शोपैं

हमें उस झूठी स्त्री को मार देना चाहिए जो जीवित स्त्री को साँस लेने से रोकती है।

एलेन सिक्सू

जब बुराई को अच्छाई के साथ प्रतिस्पर्धा करने दी जाती है, तो बुराई में भावात्मक जनवादी गुहार होती है जो तब तक जीतती रहती है जब तक कि अच्छे पुरुष और स्त्रियाँ दुर्व्यवहार के ख़िलाफ़ एक अग्र-दल के रूप में खड़े हो जाएँ।

हाना आरेन्ट

मैं इसलिए पागल नहीं हूँ क्योंकि मैं औरत हूँ… मैं पागल हूँ क्योंकि तुम मूर्ख हो।

मार्गरेट एटवुड

स्त्रियों की सुरक्षा का विचार अभी भी पुरुषों के मन से नहीं गया है। यह आपकी स्त्री दयालुता और सुरक्षा में एक इच्छुक आधिपत्य का सुझाव देता है।

रघुवीर चौधरी

स्त्री के मन का विस्तार करके उसे मज़बूत बनाया जाए, तो बुद्धिहीन आज्ञाकारिता का अंत हो जाएगा।

मैरी वोलस्टोनक्राफ़्ट

हम सभी—पुरुषों और स्त्रियों—के लिए मुख्य समस्या सीखना नहीं है, बल्कि सीखे हुए को भूल जाना है।

ग्लोरिया स्टाइनम