रहस्य पर उद्धरण
रहस्य, यानी जो सर्वविदित
न हो। प्रस्तुत चयन में उन कविताओं को शामिल किया गया है जो विभिन्न प्रसंगों में रहस्य, अचरज, अचंभे या चमत्कार की अभिव्यक्ति करते हैं।
पुरुष को स्त्री को जानने में कोई दिलचस्पी नहीं थी, इसलिए उसने उसे परम रहस्य कहकर पुरस्कृत किया; लेकिन वास्तव में घमंड के बहाने उसके अधिकार की उपेक्षा की गई।
दूरी रहस्य से भरपूर है।
यह लेखन के बारे में रहस्य है : यह कष्टों से, उन समयों से निकलता है—जब दिल को चीर दिया जाता है।
चेखव की किसी कहानी या बाल्ज़ाक के उपन्यास में ऐसे रहस्य मिले जो, जहाँ तक उन्हें पता था, किसी जासूसी थ्रिलर में भी मौजूद नहीं थे।
बच्चे चोट के निशानों को पदकों की तरह दिखाते हैं। प्रेमी इनका उपयोग रहस्य उजागर करने के लिए करते हैं। दाग़ तब होता है, जब शब्द को मूर्त रूप दिया जाता है।
यह मेरे लिए रहस्य की बात है कि कोई स्त्री इसे क्यों महत्त्व देती है कि लोग क्या सोचते हैं।
जो रहस्य से घिरा होता है, वह अधिक सुंदर दिखता है।
वे जो वाक़ई जीवन के रहस्यों को जीते हैं, उनके पास उन्हें लिखने का समय नहीं होता और वे जिनके पास समय होता है; वे उन्हें नहीं जीते।
प्यार… प्रकृति की तरह है, लेकिन उल्टा—पहले यह फल देता है, फिर फूलता है, फिर मुरझाने लगता है, फिर यह अपने बिल में बहुत गहराई तक चला जाता है, जहाँ कोई इसे नहीं देखता, जहाँ यह आँखों से ओझल हो जाता है और अंततः लोग अपनी आत्मा के भीतर दबे उस रहस्य के साथ मर जाते हैं।
आगे बढ़ने का रहस्य शुरुआत करने में है।
यौवन—जब वह आरंभ होता है, उस समय सभी कुछ रहस्यमय जान पड़ता है।
चाहे कविता किसी भाषा में हो, चाहे किसी वाद के अंतर्गत, चाहे उसमें पार्थिव विश्व की अभिव्यक्ति हो, चाहे अपार्थिव की और चाहे दोनों के अविच्छिन्न संबंध की, उसके अमूल्य होने का रहस्य यही है कि वह मनुष्य के हृदय से प्रवाहित हुई है।
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काल की छवि, मूर्ति, कविता वह धारणतीत काल के सारे रहस्य को वहन करती है।
स्त्रियों का काम हृदय का काम है। उन्हें हृदय देना होता है और हृदय अपनी ओर खींचना होता है—इसलिए उनका काम बिल्कुल सीधा-सपाट, कटा-छँटा होने से नहीं चलता।
मैं उपन्यास को मानव चरित्र का चित्र मात्र समझता हूँ। मानव-चरित्र पर प्रकाश डालना और उसके रहस्यों को खोलना ही उपन्यास का मूल तत्त्व है।
आदमी के चारों तरफ़ जो अज्ञात शक्ति है, मज़हब ने उसके रहस्य और अचंभे की आदमी को अहमियत जताई है। लेकिन साथ ही उसने न सिर्फ़ उस अज्ञात को समझने की कोशिश की, बल्कि सामाजिक प्रयत्न को समझने की कोशिश को रोका भी है। जिज्ञासा और विचार को बढ़ावा देने की जगह उसने प्रकृति के सामने, स्थापित संप्रदाय के सामने, और सारी मौजूदा व्यवस्था के सामने—सिर झुकाने के फ़लसफ़े का प्रचार किया है।
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ईश्वर एक अनिर्वचनीय रहस्यमयी शक्ति है, जो सर्वत्र व्याप्त है; मैं उसे अनुभव करता हूँ, यद्यपि देखता नहीं हूँ।
जीवन का रहस्य कला में है।
देवकीनंदन खत्री और किशोरीलाल गोस्वामी के रहस्य-रोमांच भरे उपन्यासों में भी एक आदर्शवादिता है, जो असामाजिक मान्यताओं को बढ़ावा नहीं देती।
वेद का रहस्य सत्य है। सत्य का रहस्य इंद्रियसंयम है। इंद्रियसंयम का रहस्य त्याग है जो शिष्ट मनुष्यों के आचार में सदा विद्यमान रहता है।
मेरा डर मेरा सच एक आश्चर्य है।
भाषा को क़रीब से देखने पर जीवन का रहस्य पता चल सकता है।
आत्मविश्वास सफलता का प्रथम रहस्य है।
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सौंदर्य में रहस्य न हो तो वह एक ख़ूबसूरत चौखटा है।
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ज्ञान में परिचय भी होता है, रहस्य भी, हम क्या जानते हैं, यह कभी बता नहीं सकते।
हर व्यक्ति एक रहस्य है। वह स्वयं को समझ नहीं पाता। बहुत से लोग रास्ता दिखाते हैं। लेकिन कुछ लोगों को ही रास्ता दिखता है।