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बेला

साहित्य और संस्कृति की घड़ी

30 अगस्त 2025

‘समीक्षा : सूर्यबाला के पहले उपन्यास का पुनर्पाठ’

‘समीक्षा : सूर्यबाला के पहले उपन्यास का पुनर्पाठ’

हिंदी साहित्य में जिसे साठोत्तरी रचना पीढ़ी के नाम से जाना जाता है, सूर्यबाला उसकी एक प्रमुख हस्ताक्षर हैं। उनकी साहित्यिक पहचान की नींव उनके पहले ही उपन्यास ‘मेरे संधि-पत्र’ से जुड़ी है। मैं इस किताब

29 अगस्त 2025

वापसियों की यात्रा क्या त्रासदियों के अंत से शुरू होती है?

वापसियों की यात्रा क्या त्रासदियों के अंत से शुरू होती है?

अचानक ही तुम्हें अपनी भटक का उद्गम मिल गया है। वह इतना अस्ल है कि तुम उससे घबरा गए हो। तुम चाहते हो, तुम जितनी जल्दी हो सके—उसे भाषा में उतार दो। भले ही वह अधूरा ही उतरे, लेकिन क़ुबूल हो जाए। भले उसक

28 अगस्त 2025

हम चुटकुलों से ख़फ़ा हैं

हम चुटकुलों से ख़फ़ा हैं

आमतौर पर तो भारतीय प्रथा यह है कि ज़रूरी मुद्दों को चुटकुला बना दिया जाए। लेकिन कभी-कभी जब किसी सुहाने दिन मंद-मंद-सी बयार बह रही हो, फ़िज़ा तनिक महकी-महकी-सी होने लगे, तो सोने पर सुहागा यह कि संडे ट

28 अगस्त 2025

30-31 अगस्त को दिल्ली में होगा ‘एक है अमृता’

30-31 अगस्त को दिल्ली में होगा ‘एक है अमृता’

कभी किसी को मुकम्मल जहाँ नहीं मिलता कहीं ज़मीन कहीं आसमाँ नहीं मिलता कहते हैं अगर प्यार इंसान की शक्ल लेता, तो उसका चेहरा अमृता प्रीतम के जैसा होता। ‘एक है अमृता’ उसी प्यार की बात करता है। ‘एक है

27 अगस्त 2025

मेटा 2026 : लीजिए देश के सबसे बड़े थिएटर फ़ेस्टिवल में हिस्सा

मेटा 2026 : लीजिए देश के सबसे बड़े थिएटर फ़ेस्टिवल में हिस्सा

भारतीय रंगमंच के लिए मार्च 2026 का महीना एक सुनहरे अवसर की तरह दर्ज होने जा रहा है। महिंद्रा ग्रुप द्वारा स्थापित और टीमवर्क आर्ट्स द्वारा निर्मित, देश का सबसे प्रतिष्ठित नाट्य पुरस्कार—महिंद्रा एक्स

27 अगस्त 2025

कहानी : स्पंदन

कहानी : स्पंदन

अँधेरे से भरा हुआ बंद कमरा, जिसमें बाहर लगी स्ट्रीट लाइट से प्रकाश भीतर आने की कोशिश तो कर रहा था, पर बंद खिड़कियों को भेद पाना संभव न था। राकेश ने जैसे ही कमरे में प्रवेश किया बिस्तर पर जा पड़ा। वह

26 अगस्त 2025

'सारा दिन सड़कों पे ख़ाली रिक्शे-सा पीछे-पीछे चलता है'

'सारा दिन सड़कों पे ख़ाली रिक्शे-सा पीछे-पीछे चलता है'

हमारी नई-नई शादी हुई थी और मैंने शिवानी से कहा, “अच्छा तुम्हें एक बात बताता हूँ।”  उसने सिर हिलाया।  मैंने कहा, “तुम्हें पता है, तुम्हारे एक दूसरे ससुर भी हैं।”  शिवानी हैरानी से मेरी तरफ़ द

26 अगस्त 2025

आज भी सबसे बड़ी शक्ति हैं प्रेमचंद की कहानियाँ

आज भी सबसे बड़ी शक्ति हैं प्रेमचंद की कहानियाँ

उनासीवें स्वतंत्रता दिवस की पूर्व संध्या पर प्रयागराज शहर आज़ादी का उत्सव मनाने की तैयारी कर रहा था। इसी उल्लास के बीच स्वराज विद्यापीठ में 9 से 16 अगस्त 2025 तक ‘स्वराज उत्सव’ के अंतर्गत इलाहाबाद वि

25 अगस्त 2025

28 अगस्त को अजमेर में होगा ‘लहर’-संपादक प्रकाश जैन का जन्मशती-आयोजन

28 अगस्त को अजमेर में होगा ‘लहर’-संपादक प्रकाश जैन का जन्मशती-आयोजन

अजमेर की साहित्यिक धरती ने अनेक नामचीन हस्तियों को जन्म दिया है। इन्हीं में से एक हैं साहित्यकार और लघु पत्रिका लहर के संपादक प्रकाश जैन—जिन्होंने न केवल कविता के क्षेत्र में अपनी पहचान बनाई, बल्कि ह

25 अगस्त 2025

कहानी : मसअला फूल का है

कहानी : मसअला फूल का है

भूख देखी है आपने? भूख वह भी किसी की आँखों में! भूख भरी आँखों को देख या तो सिहरन होती है या विस्मय... इस भूख को तृप्ति कैसे मिलेगी? यह जानने के प्रयास में, मैं उसके पीछे चली गई। पहले मुझे उस भूख की आख