यात्रा पर कविताएँ
यात्राएँ जीवन के अनुभवों
के विस्तार के साथ मानव के बौद्धिक विकास में महत्त्वपूर्ण भूमिका निभाती हैं। स्वयं जीवन को भी एक यात्रा कहा गया है। प्राचीन समय से ही कवि और मनीषी यात्राओं को महत्त्व देते रहे हैं। ऐतरेय ब्राह्मण में ध्वनित ‘चरैवेति चरैवेति’ या पंचतंत्र में अभिव्यक्त ‘पर्यटन् पृथिवीं सर्वां, गुणान्वेषणतत्परः’ (जो गुणों की खोज में अग्रसर हैं, वे संपूर्ण पृथ्वी का भ्रमण करते हैं) इसी की पुष्टि है। यहाँ प्रस्तुत है—यात्रा के विविध आयामों को साकार करती कविताओं का एक व्यापक और विशेष चयन।
संबंधित विषय
- अवसाद
- आँख
- आत्म
- आवाज़
- आवारगी
- इच्छा
- उम्मीद
- एकांत
- करुणा
- कला
- कवि
- कवि पर कवि
- कविता
- कोरोना
- ग़रीबी
- गाँव
- घर
- घाव
- चीज़ें
- ज्ञान
- जातिवाद
- जिज्ञासा
- जीवन
- डर
- दरवाज़ा
- नाम
- नौकरी
- प्रकृति
- प्रतीक्षा
- प्रेम
- पुरस्कार
- परिवार
- बुद्ध
- भूख
- भविष्य
- मज़दूर
- मृत्यु
- माँ
- यात्रा
- रेल
- रहस्य
- राजनीति
- लौटना
- वियोग
- विश्वास
- विस्थापन
- वीर
- शहर
- संघर्ष
- स्त्री
- सन्नाटा
- सफलता
- संबंध
- स्मृति
- संसार
- साहस
- सौंदर्य