महिमा पर सवैया

महिमा महानता की अवस्था

या भाव है। महिमा की गिनती आठ प्रकार की सिद्धियों में से एक के रूप में भी की गई है। इस चयन में शामिल काव्य-रूपों में ‘महिमा’ कुंजी-शब्द के रूप में उपस्थित है।

गज ग्राह सों छोरि निबाह कियो

पंडित युगलकिशोर मिश्र

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