Font by Mehr Nastaliq Web
noImage

प्रताप कुंवरि बाई

1817 - 1886 | जोधपुर, राजस्थान

रीतिकाल की भक्त कवयित्री। कविता में परंपरागत आदर्श का निरूपण।

रीतिकाल की भक्त कवयित्री। कविता में परंपरागत आदर्श का निरूपण।

Recitation

जश्न-ए-रेख़्ता | 13-14-15 दिसम्बर 2024 - जवाहरलाल नेहरू स्टेडियम, गेट नंबर 1, नई दिल्ली

टिकट ख़रीदिए