अम्बर पांडेय का परिचय
अम्बर पांडेय का जन्म 31 दिसंबर 1983 को हुआ। उन्होंने दर्शन शास्त्र में स्नातक किया है और सिनेमा से संबंधित अध्ययन पुणे, मुंबई और न्यूयॉर्क में किया है। वह हिंदी के अतिरिक्त संस्कृत, उर्दू, अँग्रेज़ी और गुजराती भाषा के भी जानकार बताए जाते हैं और इन सभी भाषाओं में कविताएँ और कहानियाँ लिखी हैं। उन्होंने फ़िल्मों के विविध पक्षों में सक्रियता से कार्य किया है और अतिथि शिक्षक के रूप में देश के कई प्रतिष्ठित विश्वविद्यालयों में अध्यापन भी किया है।
वह नई पीढ़ी के सर्वाधिक चर्चित कवियों में से एक हैं जिन्होंने दर्जनाधिक कारणों से हिंदी के लेखन-संसार का ध्यान अपनी ओर आकर्षित किया है। कविताएँ और गल्प उनका प्रमुख रचना-क्षेत्र है जहाँ प्रशंसित होते रहे हैं। उनकी कविताओं के लिए कहा गया है कि वे कविता के समकालीन परिदृश्य में अपनी सायास भिन्नता से न सिर्फ़ एक बहस आमंत्रित करती है वरन सौंदर्य और लोकजीवन को नए ढंग से देखने का प्रस्ताव भी करती हैं।
वह स्वयं अपनी कविताओं को ‘फंतासी’ बताते हैं और इसे संसार में नहीं पा स्की चीज़ो की सृष्टि के प्रयोजन के रूप में देखते हैं। उनका पहला काव्य-संग्रह ‘कोलाहल की कविताएँ’ 2018 में प्रकाशित हुआ है। उनके गल्प, उपन्यास अंश वेब माध्यमों पर प्रकाशित हुए हैं।