Font by Mehr Nastaliq Web

संसार के कम्प्यूटरों के लिए काम

sansar ke kampyutron ke liye kaam

परूइर सेवाक

परूइर सेवाक

संसार के कम्प्यूटरों के लिए काम

परूइर सेवाक

और अधिकपरूइर सेवाक

    (कवितांश)

    बिना रुके बस किए जा रहे हो हिसाब तुम...

    क्यों नहीं लगाते हो हिसाब तुम

    जैसे किस तरंग पर कितने पल में

    कितने ग्राम रक्त दौड़ता है

    लड़की के दिल से

    उसके व्यग्र कपोलों में

    नाभिकीय ऊष्मा की आभा पैदा करने

    जिसको सहज हृदय से अब भी

    कहते हैं हम शरमाना

    और कॉस्मिक किरणों का प्रवाह कौन-सा

    वायु-मण्डल से धूमिल आँख हमारी

    भेदा करता

    सहसा जब मिलतीं दृष्टि हमारी

    किसी अन्य से

    रश्मि विकिरण होता जो आपस में इससे

    अपने उर को लाभ पहुँचता या संकटमय होता

    दो जवाब तुम

    बिना रुके बस किए जा रहे हो हिसाब तुम...

    अच्छा हो

    यदि गणना करो हमारे हाथों ने

    कितना किलोवाट करेंट गुज़ार दिया

    बच्चों के कोमल बालों

    नन्हीं अँगुलियों में

    माशूक़ा की पतली कटि में

    दादी के दुर्बल कंधों में

    औ' बदले में कितना ज़्यादा

    या कम करेंट हम में आया

    दो जवाब तुम

    बिना रुके बस किए जा रहे हो हिसाब तुम...

    अब भी हम ठीक तरह से नहीं जानते

    भला आदमी क्यों हँसता है

    दुनिया के सारे जीवों में सिर्फ़ आदमी

    लो एक काम यह और तुम्हारे लिए रहा

    अब गणना करो हमारे सारे हँसने की

    फिर इसकी विभिन्न मुद्राओं के तुम नाम रखो

    हीं-हीं करने और मौन मुस्कराने में कितना अंतर है

    दो जवाब तुम

    बिना रुके बस किए जा रहे हो हिसाब तुम...

    एक और बात मैं पूछूँगा बतलाओगे

    सामान्य रूप से कितनी औरत ऐसी हैं

    जिनको अपने जीवन में

    हम में से हरेक ने कामातुर हो देखा है

    श्रद्धा से टकटकी लगाकर ताका है

    या बस केवल भ्रातृ-भाव से

    स्नेह-दृष्टि डाली है

    कृपया बता दो पता हमें उस औरत का भी

    जिसने हमको बहुत प्यार से चाहा

    लेकिन उससे मिलने का हमको अवसर नहीं मिला

    इसके बाद बता दो उन बच्चों की संख्या

    जो पूरी ईमानदारी से अपने होने थे

    फिर भी नहीं हुए...

    स्रोत :
    • पुस्तक : एक सौ एक सोवियत कविताएँ (पृष्ठ 252)
    • रचनाकार : परूइर सेवाक
    • प्रकाशन : नेशनल पब्लिशिंग हाउस, दिल्ली
    • संस्करण : 1975
    हिंदी क्षेत्र की भाषाओं-बोलियों का व्यापक शब्दकोश : हिन्दवी डिक्शनरी

    हिंदी क्षेत्र की भाषाओं-बोलियों का व्यापक शब्दकोश : हिन्दवी डिक्शनरी

    ‘हिन्दवी डिक्शनरी’ हिंदी और हिंदी क्षेत्र की भाषाओं-बोलियों के शब्दों का व्यापक संग्रह है। इसमें अंगिका, अवधी, कन्नौजी, कुमाउँनी, गढ़वाली, बघेली, बज्जिका, बुंदेली, ब्रज, भोजपुरी, मगही, मैथिली और मालवी शामिल हैं। इस शब्दकोश में शब्दों के विस्तृत अर्थ, पर्यायवाची, विलोम, कहावतें और मुहावरे उपलब्ध हैं।

    Additional information available

    Click on the INTERESTING button to view additional information associated with this sher.

    OKAY

    About this sher

    Lorem ipsum dolor sit amet, consectetur adipiscing elit. Morbi volutpat porttitor tortor, varius dignissim.

    Close

    rare Unpublished content

    This ghazal contains ashaar not published in the public domain. These are marked by a red line on the left.

    OKAY

    Rekhta Gujarati Utsav I Vadodara - 5th Jan 25 I Mumbai - 11th Jan 25 I Bhavnagar - 19th Jan 25

    Register for free