Font by Mehr Nastaliq Web
noImage

कृष्ण बिहारी मिश्र

1936 - 2023 | बलीहार, उत्तर प्रदेश

सुपरिचित लेखक। निबंध, पत्रकारिता-लेखन, संस्मरण और अनुवाद में योगदान।

सुपरिचित लेखक। निबंध, पत्रकारिता-लेखन, संस्मरण और अनुवाद में योगदान।

कृष्ण बिहारी मिश्र की संपूर्ण रचनाएँ

उद्धरण 8

खनखनाते हुए मणिमय मुक्ताहार, सोने के नूपुर, कुंकम के अंगराग, सुगंधित पुष्प, विचित्र मालाएँ, रंगबिरंगे वस्त्र—इन सब चीज़ों की मूर्खों ने नारी में कल्पना कर ली है किंतु भीतर-बाहर विचारने वालों के लिए तो स्त्रियाँ नरक ही हैं।

  • शेयर

श्रृंगार जिनका प्रधान है, ऐसे काम के मित्रगण नारी को जीतने से जीत लिए जाते हैं।

  • शेयर

मोहित करती हैं, मदयुक्त बनाती हैं, उपहास करती हैं भर्त्सना करती हैं, प्रमुदित करती हैं, दुःख देती हैं। ये स्त्रियाँ पुरुषों के दयामय हृदयों में प्रवेश कर क्या नहीं करती हैं?

  • शेयर

शास्त्रों के द्वारा प्रदत्त विवेक विद्वानों के मन में तभी तक प्रभाव दिखलाता है, जब तक वह कमलनयनी सुंदरियों के नेत्रबाणों का शिकार नहीं बनता।

  • शेयर

अवलोकन, संभाषण, विलास, परिहास, क्रीड़ा, आलिंगन तो दूर रहे, स्त्रियों का स्मरण भी मन को विकृत करने में पर्याप्त है।

  • शेयर

पुस्तकें 2

 

Recitation