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आरर डाल

aarar Dal

त्रिलोचन

त्रिलोचन

आरर डाल

त्रिलोचन

और अधिकत्रिलोचन

    सचमुच, इधर तुम्हारी याद तो नहीं आई,

    झूठ क्या कहूँ। पूरे दिन मशीन पर खटना,

    बासे पर आकर पड़ जाना और कमाई

    का हिसाब जोड़ना, बराबर चित्त उचटना।

    इस उस पर मन दौड़ाना। फिर उठ कर रोटी

    करना। कभी नमक से कभी साग से खाना।

    आरर डाल नौकरी है। यह बिल्कुल खोटी

    है। इसका कुछ ठीक नहीं है आना जाना।

    आए दिन की बात है। वहाँ टोटा टोटा

    छोड़ और क्या था। किस दिन क्या बेचा-कीना।

    कमी अपार कमी का ही था अपना कोटा,

    नित्य कुआँ खोदना तब कहीं पानी पीना।

    धीरज धरो, आज कल करते तब आऊँगा,

    जब देखूँगा अपने पुर कुछ कर पाऊँगा।

    स्रोत :
    • पुस्तक : प्रतिनिधि कविताएँ (पृष्ठ 51)
    • रचनाकार : त्रिलोचन
    • प्रकाशन : राजकमल प्रकाशन
    • संस्करण : 1985

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    हिंदी क्षेत्र की भाषाओं-बोलियों का व्यापक शब्दकोश : हिन्दवी डिक्शनरी

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    ‘हिन्दवी डिक्शनरी’ हिंदी और हिंदी क्षेत्र की भाषाओं-बोलियों के शब्दों का व्यापक संग्रह है। इसमें अंगिका, अवधी, कन्नौजी, कुमाउँनी, गढ़वाली, बघेली, बज्जिका, बुंदेली, ब्रज, भोजपुरी, मगही, मैथिली और मालवी शामिल हैं। इस शब्दकोश में शब्दों के विस्तृत अर्थ, पर्यायवाची, विलोम, कहावतें और मुहावरे उपलब्ध हैं।

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