रामकुमार वर्मा की संपूर्ण रचनाएँ
कविता 5
उद्धरण 4

वह प्रेम करते समय समुद्र से भी अधिक गहरी और गंभीर हो जाती है और निराश होने पर आग की लपट से भी अधिक भयानक।
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1905 - 1990 | सागर, मध्य प्रदेश
समादृत कवि, एकांकीकार और आलोचक। पद्मभूषण से सम्मानित।
समादृत कवि, एकांकीकार और आलोचक। पद्मभूषण से सम्मानित।