सरपंच प्रस्तुत उपन्यास में रचनाकार ने अंचल विशेष की संपूर्ण भौगोलिक स्थिति, प्राकृतिक सुषमा, रीति-रिवाज़ों, खान-पान, आस्था-विश्वास को भावेष्ठित करते हुए लोकजीवन की अप्रतिम छटा से 'सरपंच' को अलंकृत किया है।
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