आसमान के बिना यह कहानी दर्शन, नई भूमि तलाशने के लिए एक अभिनय कथ्य और शिल्प दोनों की तलाश है। कहानीकार अपने कहानी के विस्तार को अपने भीतर के तहखानों में उतरने वाली सीढ़ीयों तरह इस्तेमाल करना चाहता है।
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